क्षेत्रीय पार्टियों की भूमिका को नकारा नहीं जा सकता : नीरज कुमार

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पटना, 23 नवंबर (आईएएनएस)। जनता दल (यूनाइटेड) के नेता नीरज कुमार ने शनिवार को आईएएनएस से बात करते हुए महाराष्ट्र और झारखंड के चुनावी नतीजों और बिहार की चार विधानसभा सीटों पर उपचुनाव के परिणामों पर प्रतिक्रिया दी।

बिहार सरकार के पूर्व मंत्री नीरज कुमार ने कहा कि महाराष्ट्र और झारखंड के विधानसभा चुनाव और बिहार के उपचुनाव से यह स्पष्ट हो गया है कि क्षेत्रीय पार्टियों के भूमिका को नकारा नहीं जा सकता है। क्षेत्रीय पार्टी या गठबंधन के स्वाभाविक दल के साथ सहयोग और सम्मान किया जाना आवश्यक है। अब तक प्राप्त रुझानों के अनुसार, महाराष्ट्र में हमें चुनावी बढ़त हासिल है। झारखंड में हम क्यों पिछड़े, आगे इसकी समीक्षा करेंगे।

बिहार उपचुनाव को लेकर उन्होंने कहा कि यह परिणाम बहुत अहम है। राष्ट्रीय जनता दल का जो कुनबा था, वह अपने सहयोगी दल का भी राजनीतिक अपमान करता है। पिछले 34 में 32 साल यहां से राजद के सुरेंद्र प्रसाद यादव विधायक रहे थे। “एक अबला महिला ने राजनीति का छनौटा दिया” और राजद चुनाव हार गया।

उन्होंने कहा कि शाहाबाद का इलाका नक्सलवाद का शिकार रहा है। तरारी सीट पर 10 साल से भाकपा (माले) का कब्जा था, वह भी कब्जे से मुक्त हुआ। इमामगंज की सीट झारखंड की सीमा के पास की सीट है । उसे नक्सल आंदोलन की चुनौतियों का सामना करना पड़ता है । ऐसी स्थिति में नीतीश कुमार की उपयोगिता पर ऐसे लोग बोलते हैं, जो खुद सैलरी घोटाले के आरोपी हैं, जो दारू की कंपनी से इलेक्टोरल बांड लेकर चुनाव लड़ता है।

नीरज कुमार ने कहा कि एक प्रशांत किशोर हैं, जो प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री बना रहे थे। चार सीटों पर एक भी विधायक नहीं जिता सके। उनका उम्मीदवार रेस में भी नहीं रहा। इसका मतलब साफ है कि “जब नीतीश कुमार किसी के माथे पर हाथ रखते हैं, तो वह प्रशांत किशोर थे, लेकिन जब उन्होंने हाथ हटाया तो, वह किशोर साबित हुए”।