नई दिल्ली, 14 नवंबर (आईएएनएस)। देश की राजधानी दिल्ली की हवा बेहद खराब श्रेणी में बनी हुई है। गुरुवार को तो स्थिति काफी गंभीर रही। वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) कई जगहों पर 400 के पार रहा।
इस बीच बच्चों के स्वास्थ्य को देखते हुए दिल्ली सरकार ने फैसला लिया है कि प्राथमिक विद्यालय में अगले निर्देश तक ऑनलाइन कक्षाएं चलेंगी। इस बारे में मुख्यमंत्री आतिशी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पोस्ट कर जानकारी दी। उन्होंने पोस्ट में लिखा कि बढ़ते प्रदूषण के स्तर के कारण, दिल्ली के सभी प्राथमिक विद्यालयों में अगले निर्देश तक ऑनलाइन कक्षाएं शुरू कर दें।
बता दें कि दिल्ली की वायु गुणवत्ता काफी खराब स्तर पर पहुंच गई है। दिल्ली का एक्यूआई लेवल गुरुवार को 400 के पार पहुंच गया। प्रदूषण के इस स्तर को देखते हुए वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग ने 15 नवंबर से ग्रेप 3 लागू करने का फैसला किया है। इससे निर्माण से संबंधित कामों को प्रदूषण नियंत्रण में आने तक बंद किया जा सकता है। भवन व इमारतों में तोड़फोड़, खनन से जुड़ी सभी प्रकार की गतिविधियां निलंबित कर दी जाएंगी।
दिल्ली में बीते दो दिनों में प्रदूषण का स्तर वेरी पूअर से सिवियर कैटेगरी में चला गया है। इसी को देखते हुए गुरुवार को दिल्ली सरकार ने ग्रीन वॉर रूम में पर्यावरण वैज्ञानिकों के साथ बैठक की। बैठक के बाद पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने सभी सम्बंधित विभागों को ग्रेप दिशा-निर्देश का सख्ती से पालन करने के निर्देश दिए हैं।
पर्यावरण मंत्री के मुताबिक दिल्ली में जो प्रदूषण है, उसमें दिल्ली का योगदान 30.34 प्रतिशत, एनसीआर के जिलों का 34.97 प्रतिशत तथा एनसीआर से सटे जिलों का 27.94 प्रतिशत है। वैज्ञानिकों ने पिछले दो दिनों की जो रिपोर्ट रखी है, उसके अनुसार पिछले दो दिनों में प्रदूषण के स्तर में बढ़ोत्तरी के मुख्य दो कारण हैं। पहला – पहाड़ों पर बर्फबारी होने के कारण दिल्ली के तापमान में गिरावट दर्ज की गई है, जिसकी वजह से पूरे उत्तर भारत में सुबह और शाम को धुंध की स्थिति बनी हुई है। दूसरा – हवा की जो गति है, उसमें कमी आई है। इन दो वजहों से प्रदूषण के स्तर में तेजी से बढ़ोत्तरी हुई है।