सपा का वश चला तो संसद, संविधान तक हटा सकते हैं; कांग्रेस पार्टी नहीं प्राइवेट लिमिटेड कंपनी : आचार्य प्रमोद कृष्णम

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नई दिल्ली, 27 जून (आईएएनएस)। समाजवादी पार्टी के सांसद द्वारा संसद से सेंगोल हटाकर संविधान की कॉपी लगाने की मांग और कांग्रेस द्वारा सैम पित्रोदा को फिर ओवरसीज कांग्रेस का अध्यक्ष बनाने पर आचार्य प्रमोद कृष्णम ने दोनों दलों पर जमकर हमला बोला।

समाजवादी पार्टी के सांसद आर.के. चौधरी ने संसद से सेंगोल हटाकर संविधान की कॉपी लगाने की मांग की थी। आचार्य प्रमोद कृष्णम ने कहा कि सपा और अखिलेश यादव का अगर वश चले तो सेंगोल को ही नहीं वह सनातन को भी हटा दें। वे संविधान हटा सकते हैं, भारत की संसद को ही हटा सकते हैं। भारत की जिस संसद में बैठे हैं इसका इन्होंने बहिष्कार किया था।

उन्होंने कहा कि संविधान तो बहाना है, ये लोग सनातन विरोधी हैं। भारत की संस्कृति, सभ्यता का विरोध करते हैं। इन्हें किसी से मतलब नहीं है, इन्हें सिर्फ लूट खसोट करनी है। इनका काम सत्ता पर कब्जा करना, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को गाली देना, उनके फैसले का विरोध करना है। इनके पास कोई विजन नहीं है, भारत की संसद को कबड्डी का मैदान बनाना चाहते हैं। मैं लोकसभा स्पीकर और भारत के राष्ट्रपति से निवेदन करना चाहता हूं कि इनका इलाज करें, वरना देश में लोकतंत्र को भारी खतरा पैदा हो सकता है।

सैम पित्रोदा को ओवरसीज कांग्रेस का अध्यक्ष नियुक्त करने पर उन्होंने कहा कि कांग्रेस वह पार्टी है जिसने इस मुल्क को आजाद कराने में बड़ी भूमिका निभाई थी, लेकिन आज की कांग्रेस उस समय के कांग्रेस से अलग है। आज की कांग्रेस प्राइवेट लिमिटेड कंपनी है। यह राहुल गांधी के नौकरों, चमचों की पार्टी बन गई है। राहुल गांधी का इशारा होता है तो नियुक्ति हो जाती है, राहुल गांधी नाराज हो जाते हैं तो उन्हें निलंबित कर दिया जाता है।

उन्होंने कहा, “कांग्रेस आज की तारीख में पार्टी नहीं है, पार्टी बची कहां है। अगर पार्टी बचती तो इस तरह के वाहियात देश विरोधी फैसले होते? सैम पित्रोदा कांग्रेस प्राइवेट लिमिटेड कंपनी के एक डायरेक्टर के रूप में हैं, उन्हें कौन निकाल सकता है। जब उन्हें पार्टी से निकाला गया था तो पीएम मोदी ने कहा था कि इनको पार्टी में वापस ले लिया जाएगा जो आज सिद्ध हो गया।”