नई दिल्ली
देश में मानसूनी बारिश में कमी के कारण मौजूदा खरीफ मौसम में अबतक दलहनी फसलों की बुवाई का रकबा 8.58 प्रतिशत कम होकर 119.91 लाख हेक्टेयर रहा। कृषि मंत्रालय के आंकड़ों से यह जानकारी मिली।
खरीफ फसलों की बुवाई दक्षिण-पश्चिमी ग्रीष्मकालीन मानसून की शुरुआत के साथ जून से सितंबर तक की जाती है। दलहन, तिलहन, कपास और गन्ने के अलावा धान मुख्य खरीफ फसल है।
कृषि मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार, चालू खरीफ मौसम में आठ सितंबर तक धान की बुवाई का कुल क्षेत्रफल बढ़कर 403.41 लाख हेक्टेयर रहा, जबकि एक साल पहले की अवधि में यह 392.81 लाख हेक्टेयर था।
दलहन का रकबा सबसे अधिक मध्य प्रदेश में कम हुआ, उसके बाद कर्नाटक और फिर महाराष्ट्र में…। मध्य प्रदेश में मौजूदा खरीफ मौसम में सितंबर तक दलहन का रकबा 19.72 लाख हेक्टेयर रहा, जबकि एक साल पहले समान अवधि में यह 23.44 लाख हेक्टेयर था।
कर्नाटक में भी दलहन का रकबा 16.70 लाख हेक्टेयर रहा। पिछले साल समान अवधि में यह 20.07 लाख हेक्टेयर था। महाराष्ट्र में सालाना आधार पर 18.89 लाख हेक्टेयर से घटकर 16.15 लाख हेक्टेयर हो गया।
हालांकि, मौजूदा खरीफ मौसम में अब तक राजस्थान में दलहन का रकबा बढ़कर 35.30 लाख हेक्टेयर रहा, जबकि एक साल पहले की अवधि में यह 33.99 लाख हेक्टेयर था।
इससे अन्य प्रमुख उत्पादक राज्यों में आई कमी की थोड़ी भरपाई हो सकती है।
आंकड़ों के अनुसार मौजूदा खरीफ मौसम में आठ सितंबर तक तुअर का रकबा घटकर 42.92 लाख हेक्टेयर हो गया, जो एक साल पहले समान अवधि में 45.61 लाख हेक्टेयर था। उड़द का रकबा भी घटकर 31.89 लाख हेक्टेयर रहा, जो एक साल पहले समान अवधि में 37.08 लाख हेक्टेयर था।
बुवाई के समय बारिश की कमी के कारण दलहन का रकबा कम रहा।
मौसम विज्ञान विभाग के मुताबिक, एक जून से छह सितंबर के बीच देश में मानसूनी बारिश करीब 11 प्रतिशत कम हुई है।