भारत के रिटेल सेक्टर में अप्रैल-जून में हुई 2.24 मिलियन वर्ग फुट स्पेस की लीजिंग

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    नई दिल्ली, 24 जुलाई (आईएएनएस)। अप्रैल-जून की अवधि में दिल्ली-एनसीआर, हैदराबाद, मुंबई, चेन्नई और बेंगलुरु सहित भारत के शीर्ष आठ शहरों के मॉल और हाई स्ट्रीट्स में लगभग 2.24 मिलियन वर्ग फुट (एमएसएफ) स्पेस की लीजिंग दर्ज की गई है। यह जानकारी गुरुवार को जारी हुई एक रिपोर्ट में दी गई।

    कुशमैन एंड वेकफील्ड ने अपनी ‘क्यू2-2025 रिटेल मार्केट बीट’ रिपोर्ट में कहा कि यह आंकड़ा पिछली चार तिमाहियों में देखी गई औसत तिमाही मात्रा के अनुरूप है, हालांकि इसमें तिमाही आधार पर 5.4 प्रतिशत और सालाना आधार पर 6.3 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई है।

    रिपोर्ट के अनुसार, हैदराबाद, मुंबई और दिल्ली-एनसीआर शीर्ष प्रदर्शन करने वाले बाजारों के रूप में उभरे, जहां क्रमशः 0.76 एमएसएफ, 0.52 एमएसएफ और 0.3 एमएसएफ की लीजिंग वॉल्यूम दर्ज की गई, जो तिमाही में कुल लीजिंग गतिविधि का 70 प्रतिशत से अधिक है।

    इसके बाद पुणे (0.23 एमएसएफ), बेंगलुरु (0.18 एमएसएफ), चेन्नई (0.16 एमएसएफ), कोलकाता (0.05 एमएसएफ) और अहमदाबाद (0.04 एमएसएफ) का स्थान रहा।

    मुंबई और पुणे में अप्रैल-जून की अवधि के दौरान सालाना आधार पर वॉल्यूम में क्रमश: 1.6 गुना और 1.5 गुना वृद्धि देखी गई।

    कुशमैन एंड वेकफील्ड के रिसर्च इंडिया प्रमुख, सुविशेष वलसन ने कहा, “भारत का खुदरा क्षेत्र लगातार मजबूत गति प्रदर्शित कर रहा है, लीजिंग वॉल्यूम में लगातार वृद्धि अच्छी मांग की ओर इशारा करती है।”

    वलसन ने आगे कहा कि हाई स्ट्रीट्स अब भी गतिविधियों का प्रमुख संचालक बने हुए हैं, जबकि ग्रेड-ए मॉल्स में खाली जगह का स्तर और भी कम हो गया है, जो उच्च-गुणवत्ता और अनुभव-आधारित रिटेल स्पेस के लिए स्पष्ट और बढ़ती प्राथमिकता को दर्शाता है।

    इसके साथ ही, 2025 की पहली छमाही में लीजिंग वॉल्यूम 4.61 एमएसएफ रहा, जो सालाना आधार पर 17 प्रतिशत की वृद्धि दर्शाता है, जो स्थिर उपभोक्ता मांग के बीच मजबूत खुदरा विक्रेता धारणा की पुष्टि करता है।

    दूसरी तिमाही में लीजिंग वॉल्यूम में मॉल्स का योगदान 45 प्रतिशत (1.01 एमएसएफ) रहा, जो तिमाही आधार पर 42 प्रतिशत अधिक है।

    रिपोर्ट में बताया गया कि मॉल और हाई स्ट्रीट दोनों सेगमेंट में खाद्य एवं पेय पदार्थ और फैशन क्षेत्र की हिससेदारी सबसे अधिक रही और लीजिंग गतिविधि में 50 प्रतिशत का योगदान दिया।